
ट्रम्प की धमकी: भारतीय दवाओं पर 250% टैरिफ लगाने की तैयारी, कहा- “अमेरिका में ही बने फार्मा प्रोडक्ट्स”
अमेरिका में 40% जेनेरिक दवाइयां भारत से जाती हैं, 7 अगस्त से लागू होंगे नए टैरिफ
The Asia Prime | 6 अगस्त 2025 | वॉशिंगटन/नई दिल्ली
मुख्य बातें
- डोनाल्ड ट्रम्प की वापसी के संकेतों के बीच बड़ा बयान
- भारतीय फार्मा उत्पादों पर शुरू में 25% और बाद में 250% तक टैरिफ की चेतावनी
- अमेरिका भारत से करता है $7.5 अरब का फार्मा आयात
- ट्रम्प बोले: “भारत अच्छा व्यापारिक भागीदार नहीं”
- रूस से तेल खरीदने पर भी भारत को घेरा
क्या कहा ट्रम्प ने?
अमेरिकी पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने मंगलवार को CNBC को दिए गए एक टेलीफोनिक इंटरव्यू में कहा कि अगर वे फिर से सत्ता में आते हैं, तो भारत से आयात होने वाली दवाओं पर 250% तक टैरिफ लगा सकते हैं। शुरुआत में यह टैरिफ 25% होगा, फिर 150% और एक से डेढ़ साल में इसे बढ़ाकर 250% तक ले जाया जाएगा।
🗣️ “हम चाहते हैं कि हमारी दवाएं हमारे देश में बनें। भारत और चीन पर हमारी निर्भरता ठीक नहीं।”
भारतीय फार्मा पर क्या असर पड़ेगा?
भारत दुनिया के सबसे बड़े जेनेरिक दवा उत्पादकों में से एक है।
2025 में भारत ने अमेरिका को $7.5 अरब (करीब ₹65,000 करोड़) की फार्मा एक्सपोर्ट किया।
FDA (अमेरिकी फूड एंड ड्रग एडमिनिस्ट्रेशन) के अनुसार, अमेरिका में बिकने वाली 40% जेनेरिक दवाएं भारत से आती हैं।
इस नए प्रस्तावित टैरिफ से भारतीय फार्मा कंपनियों जैसे Sun Pharma, Dr. Reddy’s, Cipla, Lupin और Aurobindo पर बड़ा आर्थिक प्रभाव पड़ सकता है।
भारत पर कड़ा हमला: “अच्छा बिजनेस पार्टनर नहीं”
इंटरव्यू में ट्रम्प ने भारत को सीधा निशाने पर लेते हुए कहा:
🗯️ “भारत दुनिया का सबसे ज्यादा टैरिफ लगाने वाला देश है, लेकिन लोग इसे खुलकर नहीं कहते। अमेरिका से भारत बहुत कम लेता है और हमें नुकसान में रखता है।”
उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि भारत रूस से तेल खरीदकर रूस की युद्ध मशीन को ईंधन दे रहा है, जो अमेरिका की वैश्विक नीति के खिलाफ है।
उन्होंने कहा कि अगले 24 घंटों में टैरिफ और बढ़ाया जा सकता है, और 7 अगस्त 2025 से यह लागू भी हो जाएगा।
विश्लेषण: भारत-अमेरिका व्यापार रिश्तों पर असर
बिंदु | विवरण |
---|---|
भारत से अमेरिका को फार्मा निर्यात | $7.5 अरब (2025) |
जेनेरिक दवाओं में भारत की हिस्सेदारी (US Market) | 40% |
प्रस्तावित टैरिफ | 25% प्रारंभिक, 250% तक की संभावना |
ट्रम्प की चिंता | घरेलू निर्माण, व्यापार असंतुलन, रूस से संबंध |
विशेषज्ञों का मानना है कि इस तरह की नीति न केवल भारत-अमेरिका व्यापार पर बुरा असर डालेगी, बल्कि अमेरिकी स्वास्थ्य प्रणाली को भी नुकसान हो सकता है, क्योंकि भारतीय दवाइयों की कीमत तुलनात्मक रूप से सस्ती होती हैं।
क्या कहता है बाजार?
भारतीय शेयर बाजार में ट्रम्प के बयान के बाद फार्मा स्टॉक्स में गिरावट देखने को मिली।
विश्लेषकों के अनुसार, यह नीति अस्थिरता और अनिश्चितता पैदा करेगी और उद्योग को नए बाज़ार की ओर देखने के लिए मजबूर कर सकती है।
निष्कर्ष
डोनाल्ड ट्रम्प की आक्रामक व्यापार नीति एक बार फिर वैश्विक बाजारों को झटका देने को तैयार है।
भारत, जो अमेरिका का महत्वपूर्ण फार्मा साझेदार है, उस पर टैरिफ का सीधा हमला सिर्फ व्यापार नहीं, बल्कि भविष्य की भू-राजनीतिक दिशा भी तय करेगा।
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